दिल्ली विधानसभा चुनाव का माहौल गर्म होता जा रहा है। कांग्रेस ने अपनी प्रत्याशियों की सूची में बड़ा दांव खेलते हुए मुख्यमंत्री आतिशी मार्लेना के खिलाफ अल्का लांबा को मैदान में उतारने का ऐलान किया है। अल्का लांबा को कालकाजी सीट से टिकट दिया गया है।

दिल्ली चुनाव: मुख्यमंत्री आतिशी के खिलाफ चुनाव लड़ेंगी अल्का लांबा, कांग्रेस ने कालकाजी सीट से दिया टिकट
कांग्रेस की रणनीति: अल्का लांबा की वापसी और चुनौती
अल्का लांबा कांग्रेस की वरिष्ठ नेता हैं और छात्र राजनीति से लेकर दिल्ली की राजनीति तक उनकी गहरी पकड़ रही है। एनएसयूआई की राष्ट्रीय अध्यक्ष रह चुकीं लांबा 2015 में आम आदमी पार्टी (आप) से चांदनी चौक सीट से विधायक चुनी गई थीं। हालांकि, 2019 में उन्होंने आम आदमी पार्टी छोड़कर कांग्रेस में वापसी कर ली।
2020 के विधानसभा चुनाव में अल्का ने कांग्रेस के टिकट पर चांदनी चौक सीट से चुनाव लड़ा, लेकिन तीसरे स्थान पर रहीं। इस बार पार्टी ने उन्हें एक महत्वपूर्ण सीट कालकाजी से मुख्यमंत्री आतिशी के खिलाफ उतारने का फैसला किया है।
अल्का लांबा का राजनीतिक सफर
अल्का लांबा का राजनीतिक सफर छात्र राजनीति से शुरू हुआ। 2003 में उन्होंने पहला विधानसभा चुनाव कांग्रेस के टिकट पर मोतीनगर सीट से लड़ा, जहां उनका मुकाबला बीजेपी के दिग्गज नेता और पूर्व मुख्यमंत्री मदनलाल खुराना से था। हालांकि, वह चुनाव हार गईं, लेकिन खुराना को टक्कर देने की वजह से अल्का चर्चाओं में आ गईं।
2015 में वह आम आदमी पार्टी से विधायक बनीं, लेकिन 2019 में पार्टी छोड़कर कांग्रेस में लौट आईं। अब कालकाजी सीट पर आतिशी के खिलाफ उनकी उम्मीदवारी को कांग्रेस की रणनीतिक चाल माना जा रहा है।
कालकाजी सीट पर मुकाबला और सियासी गणित
कालकाजी सीट पर मुख्यमंत्री आतिशी और अल्का लांबा के बीच कड़ा मुकाबला होने की संभावना है। आतिशी का शिक्षण और नीतिगत कार्यों में मजबूत रिकॉर्ड है, वहीं अल्का लांबा का कांग्रेस के साथ पुराना जुड़ाव और जमीनी पकड़ उन्हें इस सीट पर मुकाबले में ला सकती है।
राजनीतिक पृष्ठभूमि
- कांग्रेस: कांग्रेस ने अब तक 48 सीटों पर अपने प्रत्याशियों का ऐलान कर दिया है।
- आप: आम आदमी पार्टी ने सभी 70 सीटों पर अपने प्रत्याशी घोषित कर दिए हैं।
- बीजेपी: बीजेपी ने अभी तक अपने उम्मीदवारों की घोषणा नहीं की है, लेकिन जल्द ही सूची जारी होने की संभावना है।
दिल्ली चुनाव पर अन्य चर्चाएं
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आम आदमी पार्टी पर कट्टर बेईमानी का आरोप लगाते हुए दिल्लीवासियों से ‘आप सरकार को उखाड़ फेंकने’ की अपील की है। वहीं, मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पीएम मोदी पर पलटवार करते हुए कहा कि यह प्रचंड बहुमत की सरकार को गाली देने जैसा है।