वरिष्ठ पत्रकार ओमप्रकाश बोराणा के साथ अकरम खान कि रिपोर्ट।
आजकल सोशल मीडिया और ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स पर ‘स्टूडियो घिबली स्टाइल’ की एआई-जनित तस्वीरों का जबरदस्त क्रेज है। मोबाइल यूजर्स अपनी तस्वीरों को घिबली स्टाइल में बदलकर शेयर कर रहे हैं। शाहरुख खान, सचिन तेंदुलकर और एलन मस्क और क्रिस्टीयानो रोनाल्डो जैसे स्टारो ने इस ट्रेंड को अपनाया है और फैलाया है,अब इसका बुखार देश के गाँवो और गलियो तक पहुचँ गया है।
क्या है घिबली स्टाइल?
स्टूडियो घिबली जापान का एक प्रसिद्ध एनिमेशन स्टूडियो है, जिसे 1985 में हयाओ मियाजाकी, इसाओ ताकाहाता और तोशियो सुजुकी ने स्थापित किया था। यह स्टूडियो अपनी हस्तनिर्मित एनीमेशन कला, बारीकियों से भरपूर दृश्य और कल्पनाशीलता के लिए जाना जाता है। ‘घिबली’ शब्द अरबी से आया है, जिसका अर्थ है गर्म रेगिस्तानी हवा। इस शब्द का प्रयोग कभी इतालवी पायलट भूमध्य सागर की गर्म हवा को दर्शाने के लिए करते थे। स्टूडियो के सह-संस्थापक हयाओ मियाजाकी ने इसे इसलिए चुना ताकि यह एनीमेशन की दुनिया में एक नया बदलाव लाए।
कैसे फैला घिबली एआई ट्रेंड?
कुछ एआई एप्स ने 26 मार्च को इस फीचर को सिर्फ पेड यूजर्स के लिए लॉन्च किया था, लेकिन अब इसे फ्री कर दिया गया है। इसके चलते यह ट्रेंड बहुत तेजी से वायरल हो गया है और दुनियाभर के लोग इसे पसंद कर रहे हैं।
घिबली के निर्माता क्यों हैं खफा?
हयाओ मियाजाकी एआई-जनित एनिमेशन के घोर विरोधी हैं। उनका मानना है कि घिबली की कला हस्तनिर्मित और भावनात्मक होती है, जिसे मशीन नहीं पकड़ सकती। वे तकनीक की बजाय पारंपरिक कला रूपों को प्राथमिकता देते हैं।
क्या हैं इसके नुकसान?
हालांकि एआई टेक्नोलॉजी जीवन को आसान और मजेदार बनाती है, लेकिन इसके कुछ खतरे भी हैं:
- निजी डेटा की सुरक्षा: कई एआई एप्स और सॉफ्टवेयर उपयोगकर्ताओं की निजी जानकारी तक पहुंच प्राप्त करते हैं। जब आप इन एप्स को एक्सेस करते हैं, तो अक्सर ‘ओके’ या ‘यस’ बटन दबाकर अपनी जानकारी साझा कर देते हैं।
- डेटा दुरुपयोग की संभावना: आपके डेटा का दुरुपयोग किया जा सकता है, जिससे साइबर सुरक्षा को खतरा हो सकता है।
- कला की मौलिकता पर असर: एआई द्वारा बनाए गए चित्रों से पारंपरिक कला और कलाकारों के अस्तित्व पर प्रश्नचिह्न खड़ा हो सकता है।
सावधानी बरतना जरूरी
अगर आप भी इस ट्रेंड का हिस्सा बनना चाहते हैं, तो सतर्क रहें:
केवल विश्वसनीय एप्स का ही उपयोग करें।
अपनी निजी जानकारी साझा करने से पहले ऐप की प्राइवेसी पॉलिसी जरूर पढ़ें।
डिजिटल सुरक्षा को प्राथमिकता दें।
घिबली एआई ट्रेंड निश्चित रूप से मजेदार और आकर्षक है, लेकिन इसे सोच-समझकर और सावधानीपूर्वक उपयोग करना बहोत जरूरी है।