✍️ वरिष्ठ पत्रकार ओमप्रकाश बोराणा
जयपुर। राजस्थान सरकार ने राज्य में प्रशासनिक पुनर्गठन की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम उठाते हुए 9 जिलों और 3 संभागों को समाप्त करने की अधिसूचना जारी की है। यह फैसला राज्य के राजस्व विभाग ने लिया है, जिससे उपखंडों और तहसीलों में बड़े बदलाव किए गए हैं। इस निर्णय से राजस्थान के प्रशासनिक नक्शे में व्यापक परिवर्तन होगा।
नए फैसले से प्रभावित जिले और संभाग
राजस्व विभाग द्वारा जारी अधिसूचना के अनुसार, निम्नलिखित जिलों और संभागों को समाप्त किया गया है:
1. अनूपगढ़ जिले की तहसीलें अब श्रीगंगानगर और बीकानेर जिलों में शामिल होंगी।
2. जयपुर ग्रामीण जिले की तहसीलें अब जयपुर जिले में शामिल की जाएंगी।
3. गंगापुर सिटी जिले की तहसीलें अब सवाईमाधोपुर में शामिल होंगी।
4. जोधपुर ग्रामीण जिले की तहसीलें अब जोधपुर जिले का हिस्सा बनेंगी।
5. केकड़ी जिले की तहसीलें टोंक और अजमेर जिलों में स्थानांतरित होंगी।
6. नीमकाथाना जिले की तहसीलें झुंझुनूं और सीकर जिलों में शामिल होंगी।
7. सांचौर जिले की तहसीलें अब जालोर जिले में सम्मिलित की जाएंगी।
8. शाहपुरा जिले की तहसीलें अब पुनः भीलवाड़ा जिले में शामिल होंगी।
प्रशासनिक फेरबदल के कारण
राज्य सरकार ने यह कदम प्रशासनिक दक्षता बढ़ाने और संसाधनों का बेहतर प्रबंधन सुनिश्चित करने के लिए उठाया है। 9 जिलों के समाप्त होने से उपखंडों और तहसीलों का पुनर्गठन किया गया है, जिससे प्रशासनिक कामकाज को सुगम बनाया जा सके।
प्रभावित उपखंड और तहसीलें
इस बड़े बदलाव से राज्य के 9 जिलों और 3 संभागों के अंतर्गत आने वाले सभी उपखंडों और तहसीलों का पुनर्विभाजन किया गया है।
अनूपगढ़ और सांचौर जैसे जिलों के उपखंड अब अन्य जिलों का हिस्सा बनेंगे, जिससे उनकी प्रशासनिक संरचना में बदलाव होगा।
जयपुर ग्रामीण और गंगापुर सिटी जैसे क्षेत्रों का एकीकरण राज्य की राजधानी और सवाईमाधोपुर जिलों के साथ किया गया है।
जनता और राजनीतिक प्रतिक्रिया
सरकार के इस फैसले को लेकर मिश्रित प्रतिक्रियाएं सामने आई हैं। जहां कुछ लोगों ने इसे प्रशासनिक सुधार की दिशा में बड़ा कदम बताया है, वहीं कई लोगों ने इस पर असहमति व्यक्त करते हुए जिलों को समाप्त करने के निर्णय को स्थानीय जनता की भावनाओं के खिलाफ बताया।
*राजस्थान सरकार का यह फैसला राज्य के प्रशासनिक ढांचे को पुनर्गठित करने की दिशा में एक बड़ा कदम है। हालांकि, यह बदलाव प्रशासनिक प्रक्रिया को सुगम बनाएगा, लेकिन यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि यह स्थानीय जनता की समस्याओं का समाधान कैसे करता है।*