✍️ वरिष्ठ पत्रकार ओमप्रकाश बोराणा
नागौर (मेड़ता)। नगर पालिका मेड़ता में लम्बे इंतजार के बाद आज एक बार फिर नेतृत्व परिवर्तन होने जा रहा है। पालिका अध्यक्ष पद से गौतम टाक के निलंबन के बाद खाली पड़े इस पद की जिम्मेदारी अब पुनः नेता प्रतिपक्ष पवन पडताणी संभालेंगे। आज वे दूसरी बार नगर पालिका अध्यक्ष के रूप में कार्यभार ग्रहण करेंगे।
गौतम टाक को 11 मार्च को किया गया था बर्खास्त
गौरतलब है कि पालिका अध्यक्ष गौतम टाक को भ्रष्टाचार और अनियमितताओं के आरोपों के चलते 11 मार्च को डीएलबी (नगर निकाय निदेशालय) द्वारा बर्खास्त कर दिया गया था। उनके निलंबन के बाद से पालिका में नेतृत्व का अभाव बना हुआ था, जिससे कई प्रशासनिक और विकास कार्यों पर असर पड़ा।
25 दिनों से खाली पड़ा था अध्यक्ष का पद
टाक के हटने के बाद पालिका अध्यक्ष का पद पिछले 25 दिनों से रिक्त था। इससे स्थानीय जनता में भी असमंजस की स्थिति बनी हुई थी। अब जब पवन पडताणी को फिर से यह जिम्मेदारी सौंपी जा रही है, तो शहरवासियों को उम्मीद है कि विकास कार्यों को गति मिलेगी और नगर पालिका की कार्यप्रणाली में स्थिरता आएगी।
पहले भी निभा चुके हैं अध्यक्ष का दायित्व
पवन पडताणी इससे पहले भी नगर पालिका अध्यक्ष का कार्यभार संभाल चुके हैं। उन्हें स्थानीय प्रशासन, कर्मचारियों और शहरवासियों के साथ समन्वय की अच्छी समझ मानी जाती है। उनका अनुभव इस बार उनके कार्यकाल को अधिक सशक्त बना सकता है।
आज होगा कार्यग्रहण समारोह
सूत्रों के अनुसार, सोमवार को पवन पडताणी दोपहर में नगर पालिका कार्यालय में विधिवत कार्यग्रहण समारोह आयोजित करेंगे। इस मौके पर पार्षदगण, प्रशासनिक अधिकारी, स्थानीय नेता और गणमान्य नागरिक मौजूद रहेंगे।
स्थानीय जनता की उम्मीदें
नगरपालिका की कार्यशैली को लेकर शहरवासी लंबे समय से असंतुष्ट थे। अब नए अध्यक्ष के रूप में पवन पडताणी की वापसी से नागरिकों को उम्मीद है कि रुके हुए विकास कार्यों को फिर से गति मिलेगी, सफाई, सड़क, जलापूर्ति जैसी मूलभूत समस्याओं पर ध्यान दिया जाएगा।
राजनीतिक समीकरण भी बदले
पवन पडताणी की वापसी से पालिका के भीतर राजनीतिक समीकरणों में भी बदलाव आने की संभावना है। पहले नेता प्रतिपक्ष के रूप में सक्रिय रह चुके पडताणी अब पूर्ण अधिकारों के साथ पालिका की कमान संभालेंगे, जिससे सत्तारूढ़ और विपक्षी खेमे में हलचल तेज हो सकती है।
नगर पालिका मेड़ता को 25 दिनों के लंबे अंतराल के बाद नया अध्यक्ष मिलने जा रहा है। पवन पडताणी की वापसी से न केवल प्रशासनिक स्थिरता की उम्मीद बंधी है, बल्कि स्थानीय जनता को भी राहत की आस है। अब देखना होगा कि वह अपने दूसरे कार्यकाल में किस तरह से शहर की तस्वीर बदल पाते हैं।