✍️ वरिष्ठ पत्रकार ओमप्रकाश बोराणा
जयपुर। राजधानी के सीकर रोड स्थित ट्रांसपोर्ट नगर इलाके में कृषि विभाग की टीम ने शनिवार को एक बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया। इस कार्रवाई में एक गोदाम में अवैध रूप से उर्वरक बनाने और फर्जी ब्रांड नामों से उनकी पैकिंग करने का खुलासा हुआ है। विभागीय सूत्रों के अनुसार, यहां एनपीके, पोटाश सहित कई प्रकार के उर्वरक बनाए जा रहे थे। मौके से हजारों कट्टे जब्त कर लिए गए हैं।
फर्जी ब्रांड नामों से हो रही थी पैकिंग
जांच के दौरान पाया गया कि यह पूरा कार्य आरके इंडस्ट्रीज के नाम से संचालित हो रहा था। एनपीके और पोटाश की पैकिंग इसी नाम से की जा रही थी। इसके अलावा जिंदल ग्रुप के नाम से प्रतिबंधित उर्वरक फोरेट की पैकिंग हो रही थी, जो कि राजस्थान में पिछले 20 वर्षों से प्रतिबंधित है। यही नहीं, श्रीराम ग्रुप के नाम से भी एनपीके उर्वरक की पैकिंग की जा रही थी, जो पूरी तरह फर्जी पाई गई।
कृषि विभाग की टीम ने मौके पर मारा छापा
कृषि विभाग की टीम ने जब ट्रांसपोर्ट नगर स्थित फ्रेट कंपनी के गोदाम पर छापा मारा, तो वहां उर्वरकों की भारी मात्रा में पैकिंग होती पाई गई। फोरेंसिक जांच के लिए सैंपल लिए गए हैं। प्राथमिक जांच में सामने आया कि पैकिंग में उपयोग किए जा रहे ब्रांड नामों के कोई लाइसेंस या प्रमाणीकरण दस्तावेज मौजूद नहीं थे।
हजारों कट्टे सीज, केस दर्ज करने की तैयारी
कृषि विभाग ने उर्वरक नियंत्रण आदेश 1985 के तहत कार्रवाई करते हुए मौके से हजारों उर्वरक के कट्टों को सीज कर लिया है। साथ ही संबंधित कंपनी और जिम्मेदार व्यक्तियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की तैयारी की जा रही है। विभाग के अधिकारियों के अनुसार, यह मामला उपभोक्ताओं और किसानों को ठगने तथा कृषि भूमि को नुकसान पहुंचाने का गंभीर प्रयास है।
फोरेट जैसे प्रतिबंधित उर्वरक की मौजूदगी चिंता का विषय
विशेष रूप से फोरेट जैसे प्रतिबंधित उर्वरक की पैकिंग और संभावित बिक्री बेहद चिंता का विषय है। कृषि वैज्ञानिकों का कहना है कि यह उर्वरक पर्यावरण और मानव स्वास्थ्य के लिए बेहद हानिकारक है, इसलिए इसे राज्य में वर्षों पहले प्रतिबंधित किया जा चुका है।
किसानों से अपील – केवल अधिकृत विक्रेताओं से ही खरीदें उर्वरक
कृषि विभाग ने किसानों से अपील की है कि वे केवल अधिकृत विक्रेताओं से ही प्रमाणित उर्वरक खरीदें और किसी भी तरह की संदिग्ध पैकिंग की जानकारी तुरंत विभाग को दें। विभाग जल्द ही पूरे शहर में ऐसे गोदामों की छानबीन करेगा और आवश्यकतानुसार और भी सख्त कार्रवाई की जाएगी।